जयपुर, 22 जुलाई। सहकारिता मंत्री अजय सिंह किलक ने कहा है कि अल्पकालीन फसली ऋण से जुड़े जिन किसानों ने 30 जून तक बकाया फसली ऋण नहीं चुकाया है वे अब 15 अगस्त, 2018 तक अपने ऋण का चुकारा कर सकते हैं। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री श्रीमती वसुंधरा राजे के निर्देश पर यह निर्णय लिया गया है।
किलक रविवार को यहां अपेक्स बैंक के सभागार में राजस्थान फसली ऋण माफी योजना, 2018 की क्रियान्विति प्रगति एवं ऋण वितरण की समीक्षा बैठक को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने बताया कि यदि किसी भी किसान से तय समय पर ऋण नहीं चुकाने पर ब्याज वसूला गया था वह किसान को वापस किया जायेगा।
सहकारिता मंत्री ने कहा कि ऋण माफी में जो किसान अपात्र हैं और 15 अगस्त तक अपना बकाया ऋण जमा कराते हैं तो उनसे भी शास्ति एवं ब्याज नहीं लिया जायेगा। उन्होंने निर्देश दिये कि किसानों से बकाया अल्पकालीन फसली ऋण 15 अगस्त तक जमा कराने पर किसी भी प्रकार का ब्याज नहीं लिया जाये। श्री किलक ने कहा कि यह सुनिश्चित किया जाये कि 15 अगस्त तक ऋण माफी शिविरों का आयोजन हो एवं किसानों को ऋण माफी प्रमाण-पत्र का वितरण भी हो।
उन्होंने कहा कि अब तक 18.66 लाख किसानों को ऋण माफी प्रमाण-पत्र जारी किये गये हैं जिसकी राशि 5 हजार 687 करोड़ रूपये से अधिक है तथा कैम्पों के दौरान 10.52 लाख से अधिक किसानों को 3 हजार 59 करोड़ रूपये से अधिक राशि के ऋण माफी प्रमाण-पत्र वितरण किये जा चुके हैं। उन्होंने कहा कि सरकार का उद्देश्य पात्र किसानों को वास्तविक लाभ दिलाना है अतः इस दिशा में किसी प्रकार की कमी नहीं रहनी चाहिये।
प्रमुख शासन सचिव, सहकारिता श्री अभय कुमार ने अधिकारियों को बधाई देते हुये कहा कि ऋण माफी शिविरों का बेहतर ढंग से क्रियान्वयन हो रहा है। उन्होंने कहा कि राज्य में अब तक 4 हजार 908 ग्राम सेवा सहकारी समितियों के ऋ़ण माफी शिविर आयोजित हो चुके हैं तथा चित्तौड़गढ़ एवं झुंझुनूं जिलों में सभी कैम्पों का आयोजन हो चुका है। उन्होंने जालौर, पाली एवं जोधपुर जिलों में शिविर आयोजन की प्रक्रिया को तीव्र करने के निर्देश संबंधित अधिकारियों को दिये।
कुमार ने कहा कि 21 जुलाई तक 22.67 लाख से अधिक पात्र किसानों के डाटा वेलीडेटेड हो चुके हैं। उन्होंने पाली, उदयपुर, जालौर, दौसा एवं बांसवाड़ा केन्द्रीय सहकारी बैंकों के प्रबन्ध निदेशकों को निर्देश दिये कि शेष रहे डाटा को शीघ्र वेलिडेटेड किया जाये ताकि शिविरों में किसानों को ऋण माफी प्रमाण-पत्र का लाभ दिया जा सके।
उन्होंने कहा कि बैंक ऋण माफी राशि का ब्याज का क्लेम शीघ्र भिजवायें। उन्होंने कहा कि ऋण माफी शिविर एक विधान सभा क्षेत्र में एक दिन में अधिकतम दो का ही आयोजन किया जाये ताकि व्यवस्थाओं में व्यवधान उत्पन्न नहीं हो। अपेक्स बैंक के प्रबन्ध निदेशक श्री विद्याधर गोदारा ने बैठक का ऎजेण्डा रखा।
बैठक के दौरान विशिष्ट सहायक (सहकारिता एवं गोपालन मंत्री) मातादीन मीणा, निजी सचिव करम चंद चौधरी, अतिरिक्त खण्डीय रजिस्ट्रार, केन्द्रीय सहकारी बैंकों के प्रबन्ध निदेशक, ऋण माफी शिविरों के मोनेटरिंग अधिकारी, उप रजिस्ट्रार, अपेक्स बैंक के अधिकारी सहित अन्य अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित थे।
किलक रविवार को यहां अपेक्स बैंक के सभागार में राजस्थान फसली ऋण माफी योजना, 2018 की क्रियान्विति प्रगति एवं ऋण वितरण की समीक्षा बैठक को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने बताया कि यदि किसी भी किसान से तय समय पर ऋण नहीं चुकाने पर ब्याज वसूला गया था वह किसान को वापस किया जायेगा।
सहकारिता मंत्री ने कहा कि ऋण माफी में जो किसान अपात्र हैं और 15 अगस्त तक अपना बकाया ऋण जमा कराते हैं तो उनसे भी शास्ति एवं ब्याज नहीं लिया जायेगा। उन्होंने निर्देश दिये कि किसानों से बकाया अल्पकालीन फसली ऋण 15 अगस्त तक जमा कराने पर किसी भी प्रकार का ब्याज नहीं लिया जाये। श्री किलक ने कहा कि यह सुनिश्चित किया जाये कि 15 अगस्त तक ऋण माफी शिविरों का आयोजन हो एवं किसानों को ऋण माफी प्रमाण-पत्र का वितरण भी हो।
उन्होंने कहा कि अब तक 18.66 लाख किसानों को ऋण माफी प्रमाण-पत्र जारी किये गये हैं जिसकी राशि 5 हजार 687 करोड़ रूपये से अधिक है तथा कैम्पों के दौरान 10.52 लाख से अधिक किसानों को 3 हजार 59 करोड़ रूपये से अधिक राशि के ऋण माफी प्रमाण-पत्र वितरण किये जा चुके हैं। उन्होंने कहा कि सरकार का उद्देश्य पात्र किसानों को वास्तविक लाभ दिलाना है अतः इस दिशा में किसी प्रकार की कमी नहीं रहनी चाहिये।
प्रमुख शासन सचिव, सहकारिता श्री अभय कुमार ने अधिकारियों को बधाई देते हुये कहा कि ऋण माफी शिविरों का बेहतर ढंग से क्रियान्वयन हो रहा है। उन्होंने कहा कि राज्य में अब तक 4 हजार 908 ग्राम सेवा सहकारी समितियों के ऋ़ण माफी शिविर आयोजित हो चुके हैं तथा चित्तौड़गढ़ एवं झुंझुनूं जिलों में सभी कैम्पों का आयोजन हो चुका है। उन्होंने जालौर, पाली एवं जोधपुर जिलों में शिविर आयोजन की प्रक्रिया को तीव्र करने के निर्देश संबंधित अधिकारियों को दिये।
कुमार ने कहा कि 21 जुलाई तक 22.67 लाख से अधिक पात्र किसानों के डाटा वेलीडेटेड हो चुके हैं। उन्होंने पाली, उदयपुर, जालौर, दौसा एवं बांसवाड़ा केन्द्रीय सहकारी बैंकों के प्रबन्ध निदेशकों को निर्देश दिये कि शेष रहे डाटा को शीघ्र वेलिडेटेड किया जाये ताकि शिविरों में किसानों को ऋण माफी प्रमाण-पत्र का लाभ दिया जा सके।
उन्होंने कहा कि बैंक ऋण माफी राशि का ब्याज का क्लेम शीघ्र भिजवायें। उन्होंने कहा कि ऋण माफी शिविर एक विधान सभा क्षेत्र में एक दिन में अधिकतम दो का ही आयोजन किया जाये ताकि व्यवस्थाओं में व्यवधान उत्पन्न नहीं हो। अपेक्स बैंक के प्रबन्ध निदेशक श्री विद्याधर गोदारा ने बैठक का ऎजेण्डा रखा।
बैठक के दौरान विशिष्ट सहायक (सहकारिता एवं गोपालन मंत्री) मातादीन मीणा, निजी सचिव करम चंद चौधरी, अतिरिक्त खण्डीय रजिस्ट्रार, केन्द्रीय सहकारी बैंकों के प्रबन्ध निदेशक, ऋण माफी शिविरों के मोनेटरिंग अधिकारी, उप रजिस्ट्रार, अपेक्स बैंक के अधिकारी सहित अन्य अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित थे।

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