शनिवार, 30 सितंबर 2017

राजनीति गरमा गई है भाजपा नेता यशवंत सिन्‍हा के बाद शत्रुघ्‍न सिन्‍हा अब कीर्ति आजाद ने भी जेटली की आलोचना

 पटना  भाजपा नेता व पूर्व मंत्री यशवंत सिन्हा के बयान पर राजनीति लगातार तेज होती जा रही है। भाजपा सांसद व सिने अभिनेता शत्रुघ्न सिन्हा के बाद अब यशवंत के सामर्थन में पार्टी से निलंबित सांसद व पूर्व क्रिकेटर कीर्ति आजाद भी उतर आए हैं। कीर्ति आजाद ने कहा है कि वित्त मंत्री अरुण जेटली ने सवालों का जवाब देने के बदले यशवंत पर व्यक्तिगत हमले किए, जो गलत था। कीर्ति ने जेटली पर तंज सका कि जो एक बार भी चुनाव नहीं जीता हो, वो जनता का दर्द भला क्‍या समझेगा।
उल्‍लेखनीय है कि यशवंत सिन्‍हा ने एक समाचारपत्र में लिखे अपने लेख में देश की अर्थव्‍सवस्‍था की हालत पर चिंता जाहिर की थी। उन्‍होंने इसके लिए वित्‍त मंत्री अरुण जेटली को जिम्‍मेदार ठहराया था।
 कीर्ति आजाद ने कहा कि अगर कोई अर्थव्यवस्था की धीमी गति का आरोप लगाता है तो देश के वित्त मंत्रीसे अपेक्षा की जाती है कि वे गंभीरता से तथ्‍यगत जवाब देंगे। लेकिन, वित्त मंत्री ने व्‍यक्तिगत हमला करते हुए यशवंत सिन्हा के लिए कहा कि वे 80 साल की उम्र में नौकरी ढूंढ रहे हैं। बात को मुद्दे से भटका दिया।
देश की अर्थव्यवस्था को लेकर वित्‍त मंत्री अरुण जेटली पर हमलावर कीर्ति आजाद ने कहा कि केंद्र सरकार का 40 महीने का समय बीत चुका है। लोग परेशान हैं। लोग जीएसटी और नोटबंदी को लेकर सवाल पूछते हैं। वित्‍त मंत्री को बताना चाहिए कि अगर सरकार ने कठोर कदम उठाए गए हैं तो लोगों की समस्याएं कैसे खत्म होंगी।
कीर्ति आजाद ने कहा कि टैक्स लगाने पर कम से कम आम लोगों को उसका दर्द नहीं होना चाहिए। विरोध की सियासत पर अपनी सफाई देते हुए कीर्ति बोले कि मान लीजिए कि हम खिलाफ हैं, लेकिन व्‍यवसायियों व आम आदमी की व्यथा को तो दूर कीजिए। उन्होंने सवाल उठाया कि क्‍या सकारात्मक आलोचना भी बागी होना होता है?अरुण जेटली पर हमलावर कीर्ति आजाद ने कहा कि जेटली कभी लोक सभा चुनाव नहीं जीते हैं। उन्‍हें आम आदमी के बीच बैठने का मौका नहीं मिला। ऐसे वे आम जनता के दुख-दर्द को नहीं समझ सकते।  कीर्ति ने कहा कि यशवंत सिन्हा एक अच्छे अर्थशास्त्री रहे हैं। वित्त मंत्री भी रहे हैं। उन्‍होंने जो लेख लिखा था, उसके ऊपर बिंदुवार जवाब देना चाहिए था।
यह है मामला


- भाजपा नेता यशवंत सिन्हा ने कहा है कि अर्थव्यवस्था बहुत बुरी हालत में है। उन्होंने जीडीपी की गणना के तरीकों पर भी सवाल उठाया है। एक समाचार पत्र में लिखे अपने लेख में पूर्व वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा ने कहा कि वर्तमान में हमारी जीडीपी ग्रोथ रेट 5.7 फीसद है, जबकि पुराने तरीके की गणना के अनुसार यह केवल 3.7 फीसद या कम है। वित्तमंत्री ने अर्थव्यवस्था की हालत बेहद खराब कर दी है।
- यशवंत सिन्‍हा ने इशारा किया कि अरुण जेटली को अन्य कई मंत्रालयों की जिम्मेदारी भी दी है, जो वित्त मंत्रालय से उनका ध्यान भटका रही है। उन्होंने लिखा है कि पीएम दावा करते हैं कि उन्होंने गरीबी को करीब से देखा है, लेंकिन उनके वित्त मंत्री पूरे देश को गरीबी दिखाने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे हैं।
- यशवंत के आरोपों पर वित्त मंत्री अरुण जेटली ने भी पलटवार किया। एक पुस्तक के विमोचन कार्यक्रम में जेटली ने सिन्हा को 80 साल की उम्र में नौकरी चाहने वाला बताते हुए कहा कि वे वित्त मंत्री के रूप में अपने रिकार्ड को भूल गए हैं। उन्होंने आरोप लगााया कि सिन्हा कांग्रेस नेता और पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम के पीछे-पीछे चल रहे हैं।
- जेटली ने सिन्हा का नाम नहीं लिया, लेकिन स्‍पष्‍ट इशारा उनकी तरफ ही था। कहा कि उनके पास पूर्व वित्त मंत्री होने का सौभाग्य नहीं है, न ही उनके पास ऐसा पूर्व वित्त मंत्री होने का सौभाग्य है जो आज स्तंभकार बन चुका है।
- अर्थव्यवस्था के हालात पर यशवंत सिन्हा के विचार का पटना से भाजपा सांसद शत्रुघ्‍न सिन्‍हा ने भी समर्थन किया। इसके बाद दरभंगा के भाजपा से निलंबित सांसद कीर्ति आजाद भी यशवंत सिन्‍हा से समर्थन में उतर आए हैं।

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