राजस्थान: शेखावत के बहाने गहलोत के घर में सेंध
गजेंद्र सिंह शेखावत को केंद्रीय मंत्रिमंडल में शामिल कर मोदी ने एक तीर से कई निशाने साधे हैं। उनका यह कदम गुजरात और राजस्थान में होने वाले विधानसभा चुनाव के मद्देनजर काफी अहम बताया जा रहा है। दरअसल शेखावत जोधपुर संसदीय क्षेत्र से सांसद है और राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का यह गृह जिला है। ऐसे में मोदी का यह कदम मारवाड़ क्षेत्र में कांग्रेस और गहलोत के असर को कम करने वाला साबित हो सकता है। देखा जाए तो राजस्थान की राजनीति में अशोक गहलोत की भूमिका अहम रहती है।
यह भी कहा जा रहा है कि इसका असर गुजरात पर पड़ेगा। गहलोत अभी गुजरात में कांग्रेस के प्रभारी है और पिछले दिनों राज्यसभा चुनाव में अहमद पटेल में उनकी सक्रिय भूमिका रही है। गजेंद्र सिंह शेखावत के मंत्री बनाकर गहलोत की गुजरात में सक्रियता को कम करने का प्रयास किया है। यह कहा जा रहा है कि शेखावत के असर को अपने गृह जिले में कम करने के लिए गहलोत अब अपने गृह जिले पर अधिक सक्रिय रहना और और वे गुजरात पर ध्यान कम दे पाएंगे। यानि इसका असर गहलोत को गुजरात में सौंपी जिम्मेदारी पर पड़ेगा। गजेंद्र सिंह शेखावत आरएसएस से जुड़ी संस्था स्वदेशी जागरण मंच और सीमा जन कल्याण समिति से जुड़े है। शेखावत जैसलमेर में जन्मे है और उनका कार्यक्षेत्र जोधपुर रहा है।
ऐसे में शेखावत को मंत्री बनाए जाने से जोधपुर, जैसलमेर, बाड़मेर समेत कई जिलों पर उनका असर देखने को मिलेगा। भाजपा को इसका फायदा राजस्थान में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव में मिलने की उम्मीद की जा रही है।
इसी तरह राजपूत समाज के व्यक्ति को प्रतिनिधित्व दिए जाने से भाजपा के प्रति राजपूतों का समर्थन जुटाने का प्रयास किया है। दरअसल राजस्थान में कुख्यात गैंगस्टर आनंदपाल एनकाउंटर मामले के बाद राजपूत समाज की भाजपा से नाराजगी सामने आ रही है।
भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने पिछले दिनों राजस्थान का दौरा किया था और इस दौरान उन्होंने फीडबैक जुटाया। उसके आधार पर शेखावत का नाम सामने आया।
यह भी कहा जा रहा है कि इसका असर गुजरात पर पड़ेगा। गहलोत अभी गुजरात में कांग्रेस के प्रभारी है और पिछले दिनों राज्यसभा चुनाव में अहमद पटेल में उनकी सक्रिय भूमिका रही है। गजेंद्र सिंह शेखावत के मंत्री बनाकर गहलोत की गुजरात में सक्रियता को कम करने का प्रयास किया है। यह कहा जा रहा है कि शेखावत के असर को अपने गृह जिले में कम करने के लिए गहलोत अब अपने गृह जिले पर अधिक सक्रिय रहना और और वे गुजरात पर ध्यान कम दे पाएंगे। यानि इसका असर गहलोत को गुजरात में सौंपी जिम्मेदारी पर पड़ेगा। गजेंद्र सिंह शेखावत आरएसएस से जुड़ी संस्था स्वदेशी जागरण मंच और सीमा जन कल्याण समिति से जुड़े है। शेखावत जैसलमेर में जन्मे है और उनका कार्यक्षेत्र जोधपुर रहा है।
ऐसे में शेखावत को मंत्री बनाए जाने से जोधपुर, जैसलमेर, बाड़मेर समेत कई जिलों पर उनका असर देखने को मिलेगा। भाजपा को इसका फायदा राजस्थान में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव में मिलने की उम्मीद की जा रही है।
इसी तरह राजपूत समाज के व्यक्ति को प्रतिनिधित्व दिए जाने से भाजपा के प्रति राजपूतों का समर्थन जुटाने का प्रयास किया है। दरअसल राजस्थान में कुख्यात गैंगस्टर आनंदपाल एनकाउंटर मामले के बाद राजपूत समाज की भाजपा से नाराजगी सामने आ रही है।
भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने पिछले दिनों राजस्थान का दौरा किया था और इस दौरान उन्होंने फीडबैक जुटाया। उसके आधार पर शेखावत का नाम सामने आया।
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