झारखंड में कांग्रेस को इस बार उम्मीद है कि जेएमएम उसके लिए सीट छोड़ेगी। इस बारे में जल्दी ही फैसला होगा। पर उससे पहले कांग्रेस की ओर से चार दावेदार खड़े हो गए हैं। अप्रैल में रिटायर हो रहे प्रदीप बालमुचू स्वाभाविक रूप से दावेदार हैं तो उनके करीबी रहे पूर्व राज्यसभा सांसद धीरज प्रसाद साहू भी दावेदार हैं। उनको सबसे मजबूत माना जा रहा है। पूर्व केंद्रीय मंत्री सुबोधकांत सहाय और अनुसूचित जनजाति आयोग के अध्यक्ष रहे पूर्व सांसद रामेश्वर उरांव को भी उनके समर्थक दावेदार बनाए हुए हैं। उनका कहना है कि राज्य में चल रही आदिवासी राजनीति को देखते हुए कांग्रेस को गैर आदिवासी चेहरा नहीं चाहिए।
इसी तरह बिहार में कांग्रेस अपने 27 विधायकों और राजद के बचे हुए नौ-दस वोट के सहारे एक सीट जीत सकती है। हालांकि यह भी तब होगा, जब कांग्रेस एकजुट रहे। पर उससे पहले ही चार नेताओं के नाम की चर्चा शुरू हो गई है। पूर्व केंद्रीय मंत्री डॉक्टर शकील अहमद और लोकसभा की पूर्व स्पीकर मीरा कुमार को सबसे मजबूत दावेदार बताया जा रहा है। कहा जा रहा है कि इनमें से ही किसी को सीट मिलेगी। पूर्व केंद्रीय मंत्री अखिलेश प्रसाद सिंह भी इस एक सीट के दावेदारों में शामिल हैं।
मध्य प्रदेश में कांग्रेस के सत्यव्रत चतुर्वेदी रिटायर हो रहे हैं और मौजूदा गणित के हिसाब से भाजपा को यह एक सीट वापस मिल जाएगी। इस एक सीट के लिए चार उम्मीदवार हाथ पैर मार रहे हैं। बताया जा रहा है कि चतुर्वेदी के अलावा पूर्व प्रदेश अध्यक्ष और पूर्व केंद्रीय मंत्री सुरेश पचौरी इस सीट के दावेदार हैं तो प्रदेश अध्यक्ष अरुण यादव भी पूरा जोर लगा रहे हैं। उनके अलावा महिला कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष शोभा ओझा भी दावेदार हैं। कहा जा रहा है कि उत्तर प्रदेश से रिटायर हो रहे प्रमोद तिवारी भी मध्य प्रदेश की एक सीट पर जोर लगा रहे हैं।
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